सबको मिलेगी 1 से 12 तक Free Education, सरकार ने जारी किये नये निर्देश

1 se 12 tak Free Education: अब सरकार कक्षा 12 तक के छात्रों को मुफ्त शिक्षा प्रदान करेगी. देश में नई शिक्षा नीति 2020 के आने के बाद से शिक्षा के क्षेत्र में निरंतर नए बदलाव किए जा रहे हैं. कुछ बदलाव राष्ट्रीय स्तर पर केंद्र सरकार कर रही है. जबकि विभिन्न राज्य सरकारों द्वारा भी अपने-अपने स्तरों पर अपने राज्य में शिक्षा की गुणवत्ता को बढ़ाने के निरंतर प्रयास किए जा रहे हैं. ऐसे में हाल ही में राजस्थान सरकार द्वारा भी अपने राज्य में शिक्षा को बढ़ाने के लिए एक नए प्रयास किया गया है.

अब सरकार 1 se 12 tak Free Education प्रदान करवाएगी. इसके अंतर्गत छात्र की पढ़ाई के लिए जो भी खर्चा आएगा उसे सरकार खुद ही वहन करेगी. अगर आप भी राजस्थान के निवासी हैं और कक्षा 1 से 12 के बीच पढ़ाई कर रहे हैं. तो यह लेख आपके लिए अथवा आपके बच्चे के लिए बहुत ज्यादा महत्वपूर्ण है.

अब 12 क्लास तक Free Education

राजस्थान सरकार ने अपने वित्तीय बजट 2023-24 को पेश करते समय यह घोषणा करी थी कि सरकार इस साल से 12वीं क्लास तक के छात्रों को मुफ्त शिक्षा प्रदान करेगी. इसके लिए सरकार ने अतिरिक्त बजट भी जारी किया है. आपको बता दें कि अभी तक राजस्थान सरकार द्वारा कक्षा एक से कक्षा 8 तक के छात्रों को मुफ्त पढ़ाया जा रहा था. हालांकि सरकार अपने सरकारी विद्यालयों में पहली क्लास से लेकर 12वीं क्लास तक के छात्रों को मुफ्त पढ़ाते हैं.

लेकिन ऐसे कई सारे अभिभावक होते हैं जो अपने छात्रों को प्राइवेट स्कूल के अंतर्गत उच्च शिक्षा प्राप्त करना चाहते हैं. ऐसे अभिभावकों को सरकार RTE के अंतर्गत प्राइवेट विद्यालयों में एडमिशन दिलाती है. इसके बाद एडमिशन से लेकर पढ़ाई तक का सारा खर्च सरकार उठाती है. सरकार द्वारा अपने खर्च में से प्राइवेट विद्यालयों की फीस जमा कराई जाती है. इसके बदले छात्रों से कुछ भी fees नहीं वसूली जाती.

सरकार ने जारी किया है 46 करोड़ का बजट

मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने इस साल पेश हुए बजट के अंदर लगभग 46 करोड़ रुपए की राशि इस योजना को क्रियान्वित करने के लिए लगाई है. यह पैसा सरकार प्राइवेट विद्यालयों में कक्षा 12 तक के छात्रों की फीस जमा करने के लिए इस्तेमाल करेगी. इसके साथ ही छात्रों को मुफ्त शिक्षा प्रदान करने के लिए अन्य सभी कार्यक्रम करने के लिए इस पैसे का इस्तेमाल किया जाएगा. जिससे कक्षा 1 से 12 तक के छात्रों को प्राइवेट विद्यालयों में RTE के माध्यम से फ्री शिक्षा प्रदान करवाई जा सके. 

RTE द्वारा 8वीं तक थी मुफ्त शिक्षा

साल 2009 में पारित किया गया शिक्षा का अधिकार अधिनियम RTE यह आदेश देता है कि पहली क्लास से आठवीं क्लास तक के छात्रों को सरकार मुफ्त एवं अनिवार्य शिक्षा प्रदान करें. इसी को क्रियान्वित करने के लिए केंद्र और राज्य सरकारों द्वारा आठवीं क्लास तक छात्रों को बिना किसी Fees के शिक्षा प्रदान की जा रही थी. जिसमें छात्रों को विद्यालय के द्वारा ही किताबें दी जाती थी. किताबों के साथ-साथ ड्रेस का पैसा तथा अन्य दूसरे कामों के लिए भी सरकार छात्रों को सहायता प्रदान करती है.

लेकिन अब अशोक गहलोत कि सरकार ने राजस्थान में इसको और आगे बढ़ा कर पेश किया है. अब सरकार ने इसे आठवीं क्लास से बढ़ा कर 12 वीं क्लास तक के लिए कर दिया है. सरकार कक्षा 12 तक के छात्रों को मुफ्त शिक्षा प्रदान करने के लिए कदम आगे बढ़ा रही है. इसमें निजी विद्यालयों के साथ-साथ सरकारी विद्यालयों में भी छात्रों को मुफ्त शिक्षा प्रदान कराई जाएगी. राज्य सरकार ऐसा अपने राज्य में शिक्षा के स्तर को ऊंचा करने के लिए कर रही है. ताकि छात्रों को अच्छी और गुणवत्तापूर्ण शिक्षा प्रदान कराई जा सके. जिससे छात्रों का भी विकास हो और राज्य का भी विकास हो.

NEP 2020 के अंतर्गत 18 साल की आयु तक मुक्त शिक्षा की बात करी गई है

आपको बता दें कि साल 2020 में शिक्षा मंत्रालय द्वारा जारी करी गई नई शिक्षा नीति NEP 2020 के अंतर्गत भी इस तरह की सिफारिशें करी गई हैं. इनमें कहा गया है कि सरकार अब छात्रों को 6 साल की आयु से पहले ही विद्यालय में एडमिशन दे दे. अब छात्र 3 साल की आयु में भी आंगनवाड़ी अथवा बाल वाटिका जैसे संस्थानों में एडमिशन ले सकते हैं. इस प्रकार 3 साल की आयु से 18 साल की आयु तक छात्रों को मुफ्त शिक्षा प्रदान करने के लिए नई शिक्षा नीति में सिफारिश करी गई है. इसी के आधार पर राज्य द्वारा अपने कानूनों में परिवर्तन किए जा रहे हैं. 

SSCNR

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